मीडियाकर्मी अजित अंजुम ने अग्रिम जमानत हेतु खटखटाया कोर्ट का दरवाजा ?

दिल्ली: गत 16 दिसम्बर को गुरुग्राम के पोक्सों स्पेशल कोर्ट में न्यूज़ 24 के पूर्व एडिटर इन चीफ अजित अंजुम ने एक बार फिर पुलिस की गिरफ्तारी से बचने हेतु अग्रिम जमानत की अर्जी देकर गुहार लगाई है। जिसपर न्यायालय ने सरकार और एफआईआर दर्ज कराने वाली पीड़ित पक्ष को नोटिस जारी कर अपना तर्क रखने हेतु समय 18 दिसम्बर का समय दिया था। मीडियाकर्मी पर आरोप लगाने वाली पीड़ित पक्ष की तरफ से पेश नीरज देसवाल ने अपने सीनियर वकील के अनुपस्थिति का हवाला देकर समय की माँग की जाने पर न्यायालय ने सुनवाई हेतु 23 दिसम्बर मुकर्रर की है। 

क्या है मामला ? 

दरअसल अजित अंजुम पर एक नाबालिग बच्ची व उसके परिवार के निजी वीडियो को तोड़ मरोड़करकर व अश्लील तरीके से प्रसारित करने का मामला 2013 से पोक्सों के अंतर्गत FIR दर्ज थी। जिसमे चंडीगढ़ उच्च न्यायालय के आदेश पर पुलिस ने अजित अंजुम व उनके सहयोगियों के विरुद्ध पोक्सों व अन्य धारा के तहत दोषी मानकर चार्जशीट न्यायालय में पेश की है। इस केस की पैरवी करने वाली संस्था जन जागरण मंच के अध्य्क्ष हरिशंकर का कहना है वर्ष 2013 में जीरो fir दर्ज हुई थी और उसके दो साल बाद सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर 2015 में गुरुग्राम के पालम विहार थाना में पोक्सो एक्ट 13(C), आईटी एक्ट 67(B), 469,471, 120(B) के तहत FIR दर्ज हुई थी। जिसमे पुलिस द्वारा कार्यवाही नही किये जाने पर पीड़िता परिवार द्वारा मामले को उच्च न्यायालय में ले जाने पर सबूतों के आधार पर पुलिस ने पोक्सों व अन्य धारा के तहत दोषी माना है।

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