आरोपी टीवी एंकर दीपक चौरसिया,चित्रा त्रिपाठी,अजित अंजुम आदि के विरुद्ध पुलिस ने किया आरोप पत्र दाखिल
गुरुग्राम: नाबालिक के वीडियो को तोड़ मरोड़ कर प्रसारित करने के मामले में वर्ष 2015 में पालम विहार थाना में दर्ज पोक्सो एक्ट मामले की जांच के लिए पीड़िता को न्याय दिलाने में जुटी सामाजिक संस्था जन- जागरण मंच के अध्यक्ष हरिशंकर कुमार द्वारा सीएम विंडो पर आरोपियों के खिलाफ कार्यवाही कराने के लिए गत माह शिकायत दी थी। हरिशंकर कुमार का कहना है कि सीएम विंडो पर भेजी गई शिकायत पर पुलिस ने क्या कार्यवाही की है, इसकी जानकारी अब मिल गई है। पुलिस उपायुक्त से प्राप्त जानकारी के अनुसार इस मामले की जांच की गई और पाया गया कि पुलिस समय रहते हुए कार्यवाही भी कर रही है। न्यूज 24 के पूर्व एडिटर इन चीफ आरोपी अजीत, अंजुम मोहम्मद सोहेल उर्फ शाहिद, सुहेल,सुनील दत्त इंडिया न्यूज के पूर्व चित्रा त्रिपाठी, राशिद, रिपोर्टर ललित सिंह आदि के खिलाफ अभियोग का प्रथम चार्जशीट गत 4 जनवरी को स्थानीय अदालत में दिया जा चुका है।
पुलिस ने अपनी जांच में लिखा है कि इंडिया न्यूज के पूर्व व न्यूज नेशन वर्तमान एडिटर आरोपी दीपक चौरसिया के विरुद्ध अतिरिक्त चालान इस वर्ष 17 मार्च को तैयार कर 18 मार्च 2021 को अदा लत में दिया जा चुका है जो अदालत के विचाराधीन है। अन्य आरो पियों रविंद्र शर्मा को भी जांच में शामिल किया गया है।
इसी प्रकार अन्य चार मुख्य आरोपी न्यूज 24 चैनल के डायरेक्टर श्री राजीव शुक्ला, श्री मति अनुराधा प्रसाद, गोपाल कांडा, इंडिया न्यूज के डाइरेक्टर कार्तिकेय शर्मा को भी पुलिस ने जांच में शामिल होने के लिए नोटिस भेजे हैं। इस प्रकार सीएम विंडो पर दी गई शिकायत का पुलिस ने निपटारा हेतु अपने वरिष्ठ अधिकारियों को रिपोर्ट भेजा है। यह मामला अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश भावना जैन की अदालत में विचाराधीन है।
गौरतलब है कि वर्ष 2013 की 2 जुलाई को पालम विहार थाना क्षेत्र के सतीश कुमार (काल्पनिक नाम) के घर संत आसाराम बापू आए थे। बापू ने परिवार के सदस्यों सहित उनकी 10 वर्षीय भतीजी को आशीर्वाद भी दिया था। उस समय सतीश के घर के कार्यक्रम की वीडियो आदि बनाई गई थी। बापू आसाराम प्रकरण के बाद टीवी चैनल ने बनाए गए वीडियो को प्रसारित किया था। परिजनों ने आरोप लगाए थे कि उनकी व आसाराम बापू की छवि धूमिल करने के लिए वीडियो को तोड़ मरोड़ कर अश्लील अभद्र तरीके से प्रसारित किया गया था, जिससे परिवार व मासूम बालिका की मानसिक व सामाजिक रुप से कष्ट झेलना पड़ा था। आहत होकर परिजनों ने पालम विहार थाने में शिकायत दर्जी कराई थी, जिस पर पुलिस थाना ने जीरो एफ आई आर दर्ज कर नोएडा पुलिस को भेज कर अपना पल्ला झाड़ लिया था। पीड़ित पक्ष को सहयोग करने वाली संस्था जन जागरण मंच इस मामले की पैरवी कर रही है। संस्था पुलिस पर आरोप लगाती रही है कि वह आरोपियों के खिलाफ कार्यवाही करने में झिझक रही है, लेकिन अब सीएम विंडो पर दी गई शिकायत का निपटारा पुलिस करने लगी है।